कुछ धमाके होते हैं और
उन धमाकों के साथ
कुछ जिंदगियां तमाम....
उन धमाकों में है सन्देश
किसी तरह की कायरता का
एक अमानुषिक बर्बरता का
जिसे धमाके करने वाले
कहते हैं अपनी ताकत
जिससे करते हैं वो
सत्ता के खिलाफ जंग
जिसे कहते हैं वो
कि यह ज़ुल्म के खिलाफ
जो भी हो मगर उनकी इस
ताकत या कायरता का शिकार
बनते हैं कुछ मासूम लोग
बच्चे-बूढ़े और स्त्रियाँ भी
जहां होते हैं धमाके
वहां बिखर जाता है खून
बिछ जाती हैं लाशें और
तड़पते हैं जीवित शरीर
जिसे देखकर हो जाता है
हर कोई कातर-निर्विकल्प
शून्य और संज्ञा रहित.....
और मर्मान्तक तक कहीं
अतल गहरे में रोते हैं हम....
जिसे कहते हैं हम मानवता
हम सब किसी ना किसी
कोख से जन्म लेते हैं.....
क्या धमाके करने वाले
किसी भी कोख से जन्म नहीं लेते !!??
2 टिप्पणियाँ:
मानवता, सार्वभौमिक ज्ञान ,प्रकृति,आदि पर जब सामाजिकता का दबाव जब 'सामाजिकता के दंश' बन आता रहा तो आतंकवाग का क्या कहना?
नमस्कार, गृह मंत्रालय के बम धमाका हेल्प लाइन में आपका स्वागत है...
(1) अभी ताजे-ताजे हुए धमाकों की जानकारी के लिए 1 दबाएं।
(2) धमाकों पर गृह मंत्री के प्री रेकॉर्डेड सदाबहार बयानों के लिए 2 दबाएं।
(3) धमाकों पर प्रधानमंत्री की निंदा और कड़े कदम उठाने के बयानों के लिए 3 दबाएं।
(4) धमाकों पर प्रधानमंत्री के और ज्यादा कड़े कदमों के बयान के लिए 4 दबाएं।
(5) किसी ने धमाकों की जिम्मेदारी ली या नहीं ये जानने के लिए 5 दबाएं।
(6) धमाकों पर दिग्विजय सिंह के RSS का हाथ है वाले बयान के लिए 6 दबाएं।
(7) गलती से अगर कोइ आतंकी पकड़ा गया है और उसे कोंग्रेस सरकारी दामाद बनाने जा रही है तो उसका नाम जानने के लिए 7 दबाएं।
(8) आतंकी का कोइ धर्म नहीं होता जैसे बयानों के लिए 8 दबाएं।
(9) अगर आपका कोइ अपना इन धमाकों में मारा गया है तो गांधी जी की रामधुन सुनाने के लिए 9 दबाएं।
(10) ये मेनू फिर से सुनने के लिए 0 दबाएं।
(11) और अगर आप खुद धमाके का शिकार हुए हैं, और अभी तक जिन्दा हैं तो अपना गला दबाएं।
कॉल करने के लिए धन्यवाद, केन्द्र सरकार के बचे हुए साल आपके लिए शुभ हों.
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